देहरादून: बागेश्वर में एक डेढ़ साल के बच्चे की मौत ने पूरे उत्तराखंड को झकझोर कर रख दिया है। गढ़वाल-कुमाऊं के ग्वालदम, बैजनाथ, बागेश्वर, अल्मोड़ा और हल्द्वानी तक उस बच्चे को लेकर परिवार दौड़ा लेकिन डॉक्टर उसका जीवन नहीं बचा सके।इस मामले में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने एक्स पर पोस्ट किया, “बागेश्वर में एक मासूम बच्चे की चिकित्सा में लापरवाही से मृत्यु का समाचार अत्यंत पीड़ादायक और दुर्भाग्यपूर्ण है। जैसा कि अभी तक सूचना प्राप्त हुई है, उनसे प्रथम दृष्टया ऐसा प्रतीत होता है कि कतिपय स्तर पर अधिकारियों और कर्मचारियों द्वारा अपने कर्तव्यों के निर्वहन में लापरवाही बरती गई है।”
सीएम धामी ने कहा कि इस अत्यंत संवेदनशील प्रकरण को संज्ञान में लेते हुए कुमाऊं आयुक्त को तत्काल जांच के आदेश दिए गए हैं। इस मामले में यदि किसी भी स्तर पर लापरवाही या उदासीनता पाई जाती है तो दोषियों के विरुद्ध कठोरतम कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी। जनता के विश्वास और जीवन की रक्षा में कोई कोताही सहन नहीं की जाएगी।
आपको बता दें कि चमोली जिले के चिडंगा गांव के निवासी दिनेश चंद्र इस समय भारतीय सेना में जम्मू-कश्मीर में तैनात हैं। 10 जुलाई को उनके डेढ़ साल के बेटे शुभांशु जोशी की तबीयत अचानक बिगड़ गई। मां और पत्नी शुभांशु को लेकर ग्वालदम अस्पताल पहुंचे लेकिन वहां इलाज नहीं मिल सका।
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इसके बाद ये लोग बच्चे को लेकर कुमाऊं मंडल के बैजनाथ अस्पताल गए, जहां से बच्चे को बागेश्वर रेफर कर दिया गया। परिवार वाले भागे-भागे बागेश्वर जिला अस्पताल पहुंचे तब तक बच्चे की तबीयत गंभीर हो गई थी और डॉक्टरों ने हायर सेंटर रेफर कर दिया। अब हल्द्वानी जाने के लिए एंबुलेंस की तलाश शुरू हुई। काफी कोशिश के बाद भी 108 एंबुलेंस उन्हें न मिल सकी।