पंजाब: उत्तर भारत लगातार आसमान से बरसती आफ़त से जूझ रहा है। पहाड़ों से लेकर मैदानी इलाकों तक बारिश, बाढ़ और भूस्खलन ने लोगों की ज़िंदगी को गहरी मुश्किलों में डाल दिया है। सोमवार सुबह हरिद्वार में रेलवे ट्रैक पर मलबा गिरने से रेल यातायात करीब 11 घंटे तक ठप रहा, जिससे यात्रियों की मुश्किलें और बढ़ गईं। वहीं पंजाब, हिमाचल, जम्मू-कश्मीर और उत्तराखंड के लोग इन प्राकृतिक आपदाओं से चौतरफा प्रभावित हो रहे हैं।
हरिद्वार में रेल परिचालन बाधित
सोमवार सुबह करीब पौने सात बजे हरिद्वार में टनल के पास रेलवे ट्रैक पर अचानक भारी मलबा गिर पड़ा। इस कारण रेल यातायात पूरी तरह रोकना पड़ा। करीब 11 घंटे तक दर्जनों यात्री स्टेशन पर ही फंसे रहे और 23 ट्रेनों का संचालन प्रभावित हुआ। कई यात्री रास्ते में घंटों तक इंतजार करते रहे। स्थानीय प्रशासन और रेलवे टीमों ने लगातार मेहनत कर ट्रैक को साफ किया, जिसके बाद देर शाम आवाजाही शुरू हो पाई।
पंजाब में बाढ़ से हाहाकार
पंजाब का हाल सबसे ज्यादा खराब है। यहां बाढ़ की चपेट में आने से अब तक 51 लोगों की मौत हो चुकी है। लगभग 3.87 लाख लोग प्रभावित हैं जबकि 4.34 लाख एकड़ क्षेत्र की फसलों को पानी पूरी तरह तबाह कर चुका है। किसानों की मेहनत बरबाद हो गई और उनके सामने आजीविका का संकट खड़ा हो गया है। हालात का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि खेतों में खड़ी धान और कपास जैसी फसलें पानी में बह गईं।
इस बीच, राज्य सरकार ने बड़े राहत कदम की घोषणा की है। बर्बाद हुई फसलों के बदले प्रति एकड़ 20,000 रुपये का मुआवजा किसानों को दिया जाएगा। हालांकि यह कदम किसानों की मुश्किलें कम करने के लिए अहम है, लेकिन इतने बड़े पैमाने पर हुए नुकसान की भरपाई इसमें कितनी हो पाएगी, यह समय ही बताएगा।
पहाड़ी राज्यों में हालात गंभीर
हिमाचल प्रदेश और जम्मू-कश्मीर के हालात भी बुरी तरह से बिगड़े हुए हैं। लगातार हो रही बारिश से जगह-जगह भूस्खलन हो रहे हैं और सैकड़ों सड़कें बंद पड़ी हैं। छोटे पहाड़ी गांव कटी हुई स्थिति में हैं और राहत-बचाव दल लगातार मोर्चे पर जुटे हुए हैं। जम्मू-कश्मीर में कटड़ा से माता वैष्णो देवी जाने वाली यात्रा लगातार 14वें दिन निलंबित है। हर साल लाखों श्रद्धालु यहां दर्शन के लिए पहुंचते हैं, लेकिन खराब मौसम ने आस्था की राह रोक दी है। यात्रा ठप होने से स्थानीय कारोबारियों और छोटे दुकानदारों की रोज़ी-रोटी पर भी संकट मंडरा गया है।